• जागो हुक्मरान न्यूज़
साँचोर | 11 फरवरी की रात आठ बजे पश्चिमी राजस्थान के साँचोर शहर के उभरते साहित्यिक मंच साहित्य मित्र डिजिटल समूह द्वारा भू-राजस्व अधिकारी बाबूलाल पारेंगी जाखल के जन्मदिन के दूसरे दिन शाम को गूगल मीट पर ऑनलाइन कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया। यह कार्यक्रम मुख्य अतिथि बाबूलाल पारेंगी की उपस्थिति में आयोजित किया गया।
कार्यक्रम समूह संस्थापक अरविन्द कालमा भादरुणा, साँचोर (राजस्थान), अध्यक्ष प्रकाश भारतीय ‘मस्त’ अरणाय, साँचोर (राजस्थान), संरक्षक कृष्ण पाल ‘मेघ’ जोड़वास, रानीवाड़ा (राजस्थान) के नेतृत्व में आयोजित हुआ। कार्यक्रम का संचालन संजना जोशी ने किया। इस कवि सम्मेलन का विषय था ‘विधवा जीवन’।
मीडिया प्रभारी युवा साहित्यकार नरेंद्र राणावत मूली चितलवाना ने बताया कि इस विषय पर देश के तमाम हिस्सों से कई प्रतिभागियों ने अपनी स्वरचित रचनाएँ प्रस्तुत की। जिसमें संजना जोशी अल्मोड़ा (उत्तराखण्ड), डॉ.सुमन धर्मवीर विशाखापत्तनम (तमिलनाडु), आलोक सिंह “गुमशुदा” लखनऊक्ष(उत्तर प्रदेश), झंवताराम बामणिया चितलवाना (राजस्थान), नरेश नालिया “राज” नागौर (राजस्थान), विनोद सिल्ला हरियाणा, सौम्या राय आजमगढ़ (उत्तर प्रदेश), जलेश्वरी गेंदले मुंगेली (छत्तीसगढ़), सुरेन्द्र प्रजापति गया (बिहार), भूपसिंह भारती नारनौल (हरियाणा), कुमार अतुल राव आजमगढ़ (उत्तर प्रदेश) प्रमुख थे।
मुख्य अतिथि ने इस कार्यक्रम हेतु घोषणा की थी कि जो भी प्रतिभागी प्रथम, द्वितीय और तृतीय स्थान प्राप्त करेगा उसे मेरी तरफ से कैश राशि इनाम स्वरूप दी जायेगी। रचनाओं की समीक्षा हेतु तीन समीक्षकों का पैनल बनाया गया जिसमें व्याख्याता दानाराम (हिंदी साहित्य विशेषज्ञ) नागौर (राजस्थान), कानाराम पारीक वरिष्ठ अध्यापक (हिंदी साहित्य विद्वान) साँचोर एवं अध्यापक और कवि मास्टर भूताराम जाखल (साँचोर) प्रमुख रहे। जिन्होंने सभी रचनाओं की समीक्षा की।
समीक्षा के बाद प्रथम स्थान पर आलोक सिंह “गुमशुदा” उत्तरप्रदेश, द्वितीय स्थान पर भूप सिंह भारती हरियाणा और तृतीय स्थान पर नरेश नालिया “राज़” नागौर राजस्थान रहें। जिन्हें नकद राशि से सम्मानित किया जायेगा।
सभी कलमकारों ने बेहतरीन प्रस्तुतियाँ दी और मुख्य अतिथि को जन्मदिन की बधाइयाँ प्रेषित की। अंत में मुख्य अतिथि ने अपने उद्बोधन में सभी को धन्यवाद ज्ञापित किया और कहा कि ऐसे ही विषयों पर कवि सम्मेलन आयोजित किए जाएं जिन पर लोगों की नज़र जाए और कुप्रथाओं को मिटाया जा सके। सफल आयोजन के लिए सभी का आभार प्रकट किया।
इस भव्य कार्यक्रम में कार्यकारिणी सदस्यों के अलावा वांका राम परमार, मुकेश पारीक जाखल, अपर्णा ध्रुव छत्तीसगढ़, शंकरलाल आंजणा नवापुरा, भरत वाणिया लुनियासर, गोविंद पटेल छत्तीसगढ़, अर्चना सिंह बौद्ध अलवर एवं आशीष बौद्ध आगरा इत्यादि इस डिजिटल कार्यक्रम में श्रोताओं के रूप में उपस्थित रहे।
रिपोर्ट- अरविंद डाभी