कल्याणपुरा में ड्रोन से छिड़काव का व्यवहारिक प्रशिक्षण दिया
• जागो हुक्मरान न्यूज़
सरदारशहर | सरकार किसानों को कम लागत में ज्यादा पैदावार के मकसद से किसानों की आय दुगुनी करने के लिए केंद्र सरकार की मनसा अनुसार चूरू जिले में इफको के द्वारा 14 लाख रूपयों का पहला ड्रोन कल्याणपुरा गांव की कविता राजपुरोहित को दिया गया। गुरूवार को इफको के द्वारा पहले दिन प्रशिक्षण के रूप में किसानों के साथ मिलकर खेतों में ड्रोन के माध्यम से नैनो यूरिया व तरल सांगरिका की खेत में स्प्रे की गई।
इफको के मुख्य क्षेत्र प्रबंधक सोहनलाल सारण ने बताया कि एक ड्रोन की कीमत करीब 8 से 9 लाख के बीच में होती हैं। जबकि 5 लाख रूपये का इलेक्ट्रिक ऑटो व जनरेटर सहित दिया गया। यह जिले का पहला ड्रोन है। कंपनी इसकी गारंटी भी देती है। कुछ तकनीकी गड़बड़ी आने पर कंपनी उसे दुरस्त भी करा देती है। एक ड्रोन की लाइफ करीब साल है। ड्रोन पायलेट महिला उद्यमी कविता राजपुरोहित ने बताया कि ड्रोन 1 घंटे में 10 से 12 बीघा जमीन में स्प्रे करता है। ड्रोन से स्प्रे करने से फसलों में एक साथ कम पानी से शानदार स्प्रे होती है। इस दौरान किसानों को ड्रोन के बारे में इफको के विनोद खेरवा, मुकेश ढाका, श्यामसिंह राजपुरोहित, शिवसिंह राजपुरोहित, बालचंद देहडू, सुरेंद्र जाखड़ आदि ने किसानों को ड्रोन से होने वाली स्प्रे के बारे में जानकारी दी।
इफको के मुख्य क्षेत्र प्रबंधक सोहनलाल सारण ने बताया ने बताया कि एक बार में ड्रोन से 13 फीट चौड़ा दायरा लेता है। जो सभी पौधो को कवर करता है। जमीन से सात फिट उंचाई पर ड्रोन उड़कर स्प्रे करेगा। वही जो फसल का आकार होता है उसी के अनुसार ड्रोन को उड़ाया जाता है। जबकि पेड़ और पक्षी कोई पास में आयेगा तो ऐसे इसमें सैंसर है जो पहले ही रोक लेगें। किसान के ड्रोन से स्प्रे करवाने पर प्रति बीघा पर 150 से 200 रूपयो तक का खर्चा आयेगा। खास बात यह है कि ड्रोन से फसलें नहीं टूटती है जबकि ट्रेक्टरों से अगर स्प्रे करते है तो पाईप व ट्रेक्टरों से फसलों में नुकसान होता है व अतिरिक्त मजदूर की भी आवश्यकता रहती है। पांच बीगा में 500 लीटर पानी की आवश्यकता होती है। जबकि ड्रोन से पांच बीघा में मात्र 35-40 लीटर पानी से यह स्प्रे होती है।
किसानों को हो रहा फायदा- कविता राजपुरोहित ने बताया कि ड्रोन के इस्तेमाल से किसानों को फसल के उत्पादन में फायदा होता है। दरअसल कई बार किसानों को खेतों में घुसकर खाद या कीटनाशक डालने में परेशानियों का सामना करना पड़ता है। ड्रोन के माध्यम से बहुत फायदा किसानों को होगा और वहां खेत के बाहर से भी स्प्रे कर सकते हैं।